अखिल भारतीय स्वतंत्र पत्रकार एवं लेखक संघ और नेशनल मीडिया नेटवर्क के संयुक्त तत्वावधान में आज संघ के मुख्यालय बरवाला में हिंदी पत्रकारिता दिवस पर संघ के राष्ट्रीय महासचिव दयानंद वत्स की अध्यक्षता में हिंदी पत्रकारिता दशा और दिशा विषयक सार्थक परिचर्चा का आयोजन किया गया। अपने अध्यक्षीय संबोधन में श्री दयानंद वत्स ने कहा कि निरंतर प्रगति के बावजूद हिंदी पत्रकारिता संक्रमण काल से गुजर रही है और अपना अस्तित्व बचाए रखने के लिए संघर्षरत है। उदन्त मार्तण्ड के प्रकाशन के समय जो हिंदी पत्रकारिता एक राष्ट्रीय मिशन थी कालांतर में आज वह आधुनिक डिजिकल युग में एक व्यवसाय के रुप में परिवर्तित हो गयी है। अब वह स्पेस सेलिंग हो गयी है जहां पत्रकार और संपादक तक बाजारीकरण की भेंट चढ चुके हैं। हिंदी पत्रकारिता का स्वर्णिम दौर 21वीं सदी में आते- आते अपनी चमक और कलम की धार दोनों तेज कर चुका है, क्योंकि उस पर बाजार हावी हो गया है इसलिए उसे अंग्रेजी से कडी टक्कर मिल रही है। फिर भीआज हिंदी पत्रकारिता अपनी एक सुदृढ वैश्विक पहचान बना चुकी है। उसकी दशा अच्छी स्थिति में है और दिशा समयानुकूल है।
संक्रमण काल से गुजर रही है हिंदी पत्रकारिताः दयानंद वत्स
May 30, 2017
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