गत रविवार द्वारका सेक्टर २२ के नव संसद अपार्टमेन्ट के पीछे दिल्ली विकास प्राधिकरण के उद्यान में सुख दुःख के साथी संस्था द्वारा आयोजित एक भावपूर्ण समारोह में दिल्ली विकास प्राधिकरण के उद्यान विभाग के अधिकारी गण एवं कर्मचारियों का अभिनन्दन किया गया| ज्ञातव्य है क़ि अभी हाल ही में इस उद्यान को दिल्ली विकास प्राधिकरण क़ी वार्षिक उद्यान स्पर्धा में पूरी दिल्ली में सर्वोत्तम ठहराया गया था| इस उद्यान के रख रखाव से सम्बंधित सभी व्यक्तियों के लिए यह गर्व का विषय है कि इसी उद्यान को गत वर्ष भी ऐसा ही गौरव प्राप्त हुआ था| इस अवसर पर सुख दुःख के साथी संस्था के सदस्यों के चेहरों पर विशेष ख़ुशी साफ साफ देखी जा सकती थी क्योंकि आरम्भ में इस संस्था का गठन उन चंद लोगों ने ही किया था जो इस उद्यान में नित्य भ्रमण के लिए आते थे और इस उद्यान की दीन दशा देखकर इसका जीर्णोद्धार करने के लिए कटिबद्ध हुए थे| आज यह संस्था अपने क्षेत्र के सर्वांगीर्ण विकास के अन्यान्य कार्यों में समर्पित रूप से सक्रिय है|
समारोह का विशेष आकर्षण मुख्य अतिथि डी. डी. ऐ. सदस्य एवं दिल्ली के पूर्व उप महापौर श्री राजेश गहलोत द्वारा सुख दुःख के साथी संस्था की ओर से उद्यान कर्मचारियों को उपहार वितरण, उनके साथ जलपान ग्रहण वं व्यक्तिगत रूप से उनका उत्साह वर्धन दर्शनीय था| समारोह का संचालन करते हुए संस्था के महासचिव श्री शशि कांत कपूर, स्वागत वक्तव्य में अध्यक्ष श्री विजय शंकर सिंह और धन्यवाद प्रस्ताव में उपाध्यक्ष श्री एस. पी. एस. चौहान ने उद्यान विभाग से आये हुए उप निदेशक श्री प्रेम चंद और उनके साथ आये अन्य अधिकारिओं एवं कर्मचारियों का एक स्वर से धन्यवाद एवं अभिनन्दन किया एवं सभी कर्मचारियों की कर्त्तव्य परायणता की विशेष रूप से सराहना की| संस्था के संयुक्त सचिव श्री प्रेम बिहारी मिश्र ने अपनी स्वरचित कविता से मुख्य अतिथि का स्वागत सत्कार एवं उद्यान विभाग का अभिनन्दन करते हुए सभी श्रोताओं का आह्वान किया कि “आओ हम सब मिल बैठ बनायें सुन्दर, स्वच्छ, स्वस्थ द्वारका” और “बने द्वारका स्वर्ग सरीखी, रहे जगत में एक मिसाल“, जिसकी सभी ने करतल ध्वनि से पुरजोर सराहना की| कार्यक्रम की शोभा बढ़ाते हुए कर्नल प्रेमचंद चौधरी ने अपने कविता पाठ और ७४ वर्षीय श्री बी. एल. रेना ने अपने मधुर गान से भी सभी को मंत्र मुग्ध कर दिया|
इस आयोजन को सफल बनाने में संस्था के समन्वयक श्री दिनेश चंद माथुर व सचिव श्री सुभाष चंद चावला की मुख्य भूमिका और उद्यान के इस गौरव को प्राप्त करने में केप्टन एस. एस. मान के अनवरत प्रयास, अथक परिश्रम एवं सम्बंधित विभागों आदि से संपर्क व समन्वय को विशेष रूप से सराहा गया और सभी ने आशा प्रकट की कि इस प्रकार के प्रयासों एवं सफलताओं से प्रेरित होकर द्वारका के सभी क्षेत्रों के निवासी व्यक्तिगत रूप से अथवा संस्थागत रूप से स्वयंसेवा के लिए अग्रसर होंगे जिससे इस उपनगर का तीब्र गति से विकास होगा और इसे विश्व में श्रेष्ठतम स्तर पर पहुँचाने का सपना साकार हो सकेगा|