अमृत काल का सकारात्मक भारत के श्रृंखलाबद्ध कार्यक्रमों की कड़ी में रविवार 18 जून को आरजेएस पीबीएच और अध्यात्म योग संस्थान के संस्थापक डा.रमेश कुमार ने मेजबानी की। विश्व योग दिवस की थीम पर राष्ट्रीय वेबीनार आयोजित किया। इसमें मुख्य अतिथि डॉ ईश्वर बासव रेड्डी ने भारत सरकार के योग दिवस कार्यक्रम की महत्वपूर्ण जानकारी दी।
अध्यक्षीय वक्तव्य योगी कवि आचार्य प्रेम भाटिया ने दिया और स्वलिखित कविता के माध्यम से जागृति फैलाई। वेबिनार में मेजबान आरजेएस के प्रेरणास्रोत अठ्ठासी वर्षीय श्री रामजग सिंह ने अपने स्वस्थ जीवन का राज सकारात्मक सोच के साथ योग को बताया।
मुख्य अतिथि डा.वासव रेड्डी ने कहा की योग के कौशल और ज्ञान ने योग शिक्षकों की मांग को बढ़ा दिया है। इस समय 14 लाख योग शिक्षकों की आवश्यकता है। इस साल योग दिवस का मुख्य कार्यक्रम जबलपुर में हो रहा है , जहां भारत के उपराष्ट्रपति , आयुष मंत्री और मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री 15 से 20000 लोगों के साथ योग करेंगे। उन्होंने कहा कि संयुक्त राष्ट्र में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 193 देश के प्रतिनिधियों के साथ योगाभ्यास करेंगे। भारत में दुर्गम स्थलों से लेकर योग सागरमाला और भारत माला, अमृत सरोवर के साथ-साथ हर आंगन योग के माध्यम से संदेश दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि विद्यार्थी ही मेरे गुरु हैं जिनसे मैं बहुत कुछ सीखता हूं । मानव का मन स्वार्थ से भरा होता है ,जबकि योग हमें परमार्थ की ओर ले जाता है। उन्होंने योग को बढ़ावा देने के लिए आरजेएस पीबीएच और डा रमेश कुमार की तारीफ की।
इंटरैक्टिव सेशन में सकारात्मक भारत उदय आंदोलन के प्रथम सहयोगी सोमेन कोले ने धन्यवाद ज्ञापित किया।अशोक कुमार मलिक, लाफ्टर एंबेसडर कुलवंत राय और दुर्गा दास,सुमन गुप्ता, प्रेमप्रभा झा आदि के सवालों का मुख्य अतिथि ने संतोषप्रद जवाब दिया।