अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस पर कार्यक्रम

राम जानकी संस्थान, आरजेएस के पटना केंद्र ने 21 फरवरी अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस के उपलक्ष्य में 130 वीं वेबीनार  का आयोजन रविवार को आरजेएस सूचना प्रभारी, पटना डा. मुन्नी कुमारी द्वारा आयोजित किया गया। आरजेएस राष्ट्रीय संयोजक उदय कुमार मन्ना ने आरजेएस फैमिली की ओर से स्वतंत्रता सेनानी गोपाल कृष्ण गोखले, आचार्य नरेन्द्र देव और गोपाल भाई भट्ट की स्मृति को नमन् . किया।

 मुख्य अतिथि डा. हरि सिंह पाल  जो सदस्य केंद्रीय संस्कृति मन्त्रालय की सलाहकार समिति और आकाशवाणी के पूर्व कार्यक्रम निदेशक ने मातृ भाषा के महत्व पर प्रकाश डाला । 17 नवम्बर 1999 को संयुक्त राष्ट्र संघ में मातृ भाषा मनाने का प्रस्ताव आया तथा अनुमोदन 2008 में हुआ ।डा हरि सिंह पाल नेऊ ब्रज भाषा में बहुत कार्य किया । उन्होने भारत में भाषा की विविधता पर कहा कि  कोस-कोस पर पानी बदले, चार कोस पर वाणी बदल जाती है । दस हजार से कम कोई भाषा बोलने वाले बचें तो वह भाषा लुप्त होने के संकट में आ जाती है ।वेबिनार की अध्यक्षता करते हुए प्रो. परिचय दास हिन्दी विभागाध्यक्ष,नव नालंदा महाविहार डीम्ड यूनिवर्सिटी ने फिजी में विश्व हिंदी सम्मेलन के विषय में बताया । फिजी में 140 वर्ष पहले भोजपुर पूर्वी उत्तर प्रदेश से गये । फिजी वासी हिंदी को सुरक्षित रखे हुए हैं । माइक्रोसॉफ़्ट में भारतीय भाषाओं के निदेशक बालेन्दु शर्मा दाधीच ने भाषाओं के विकास में तकनीक के सहयोग की चर्चा की । माइक्रोसॉफ्ट हिंदी व अन्य भाषायों को समृद्ध कर रहा है । हिंदी का प्रयोग सोशल मीडिया की वजह से बढ़ा है । गूगल ट्रान्सलेशन से हम अनुवाद कर सकते हैं । भाषा सीख सकते हैं । वेबिनार का आयोजन रैना इंफोटेक पटना परिसर में एडवोकेट शिक्षिका डा.मुन्नी कुमारी ने किया और मंच  कुशलता पूर्वक संचालन किया । रैना इन्फोटेक के दिलीप रैना  ने धन्यवाद ज्ञापित किया ।

वेबिनार में सुदीप साहऊछओमप्रकाश झुनझुनवाला,रतनाभ ,मौ.इशहाक खान,सोनू कुमार और आशीष रंजन आदि ने अतिथियों से मातृभाषा पर सार्थक संवाद किए। आरजेएस राष्ट्रीय संयोजक उदय मन्ना ने सोमवार 20 फरवरी को सायं सात बजे पर्यावरण संरक्षण पर आजादी की‌ अमृत गाथा का 131 वां कार्यक्रम करने की घोषणा की।