दत्तोपंत ठेंगड़ी भवन नई दिल्ली में 22जून को आयोजित राम जानकी संस्थान, आरजेएस की प्लैटिनम जुबली बैठक में मुख्य अतिथि आरजेएस से जुड़े इहबास के निदेशक डा. निमेश देसाई और विश्व भारती योग संस्थान के संस्थापक निदेशक योगी कभी प्रेम भाटिया ने समवेत स्वर में टीम आरजेएस के सकारात्मक भारत मिशन को समर्थन दिया .उन्होंने कहा कि सकारात्मक बैठकें और सकारात्मक पत्रकारिता से भारत निर्माण में आरजेएस की कोशिशें सफल हो रही हैं और आज देश में सकारात्मक माहौल की बेहद आवश्यकता है।
आरजेस राष्ट्रीय संयोजक उदय कुमार मन्ना ने बताया कि 2017 से सकारात्मक भारत के लिए प्रयास किया जा रहा था जिसे आज 22 राज्यों के पत्रकार व समाजसेवी प्रतिनिधि 75 सकारात्मक बैठकें और 150 महान आत्माओं को श्रद्धांजलि देकर आशीर्वाद प्राप्त कर चुके हैं। 24 जुलाई को आरजेएस के स्थापना दिवस समारोह में आरजेएस अवार्ड की घोषणा की जाएगी।75वीं बैठक का आयोजन विश्व योग दिवस और विश्व नशा मुक्ति दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित किया गया। बैठक को संबोधित करते हुए डॉ. देसाई ने कहा कि अपराध मानसिक विकृति वाले लोग करते हैं इसे मानसिक रोगी के साथ जोड़ कर नहीं देखा जाना चाहिए मानसिक रोगी तो स्वयं प्रताड़ित होता है इसलिए इनके प्रति हमें सहानुभूति रखनी चाहिए ।किसी समय शाहदरा अस्पताल पागलखाना के रुप में जाना जाता था, जिसे अब मानव व्यवहार एवं संबंध विज्ञान संस्थान के रुप में जाना जाता है और यहां हर प्रकार की सुविधाएं मौजूद हैं।
योगी कवि प्रेम भाटिया ने कहा कि जब मेरा मन ठीक रहेगा तभी हम दूसरे का भी मन ठीक कर सकते हैं ।जब दूसरे का मन भी ठीक होता है तभी तीसरे या अन्य लोगों में सकारात्मकता आएगी ।इसलिए सबसे पहले हमें स्वयं अच्छी सोच को धारण और आचरण करना होगा।अनियमित जीवन जीने वाले पत्रकार, डॉक्टर या किसी को भी अपने लिए एक घंटा योग के लिए निकालना जरुरी है तभी वो अपनी और राष्ट्र की सेवा पूरे मन से कर सकते हैं।बैठक में आरएनआई न्यूज़ के संस्थापक सुबीर सेन, सामाजिक कार्यकर्ता विशाल जैन, पत्रकार अशोक धवन, पत्रकार अंशुल राजपूत और गंधर्व विद्यालय की छात्रा प्रियंका सुंदरम को सम्मानित किया गया। आरजेएस पॉजिटिव मीडिया से आरजेएस स्टार मनोज झा- वंदना झा व रेशमदयाल-दीनदयाल ,आर एस सुंदरम, राजेश खन्ना, सोनाली चतुर्वेदी ,डॉ नरेन्द्र टटेसर, सागर ,वयोवृद्ध पत्रकार अमरजीत सिंह कलिंगा, रणवीर सिंह ,नौमिनिता, मनोज त्रिपाठी और हिमांशु चौहान आदि ने मिलकर आरजेएस की प्लैटिनम जुबली बैठक को सफल बनाया।